सुल्तानपुर: घाना कला में शिक्षकों की बड़ी लापरवाही प्राथमिक शाला के बच्चो के लिए आई किताबे शिक्षकों की लापरवाही से भीगी हुई खराब वही बच्चो से धुलवाई गई टाट पट्टी बच्चो को न बाटते हुए शिक्षकों ने खंडर भवन में रखकर भीगाकर कर दी खराब लेकिन नही बाटी बच्चो को किताबे ग्राम आमा खोह की प्राथमिक शाला और ग्राम घाना कला प्राथमिक शाला के बच्चो को बाटने के लिए आई थी किताबे
शिक्षकों की लापरवाही से हुई खराब

सुल्तानपुर बाड़ी ब्लाक के ग्राम पंचायत भीमपुर कंजई घाना कला की प्राथमिक शाला में है दो प्राथमिक शिक्षक दोनो की लापरवाही आई सामने
एक प्राथमिक शिक्षक बशारत शाह थे प्रभारी तो अब प्रभारी दूसरे प्राथमिक शिक्षक धनी राम उईके हे लेकिन दोनो ही शिक्षक अपने आपको प्रभारी शिक्षक बताने से झाड़ झाड़ा पल्ला एक दूसरे को बताते प्रभारी
वही इटखेड़ी के संकुल प्राचार्य भी शिक्षकों की लापरवाही होने के बाद भी शिक्षकों को बचाते आ रहे नजर उनका मानना पानी की वजह से हुई किताबे खराब बच्चो को बटना या जमा करना नही था जरूरी इनका ऐसा मानना है मतलब साफ हे के बच्चो के li आई किताबे खराब हो जाए लेकिन उन्हें दूसरे स्तन पर सुरक्षित नहीं रखना था अगर शिक्षक लापरवाही नही बरतते तो किसी पन्नी में लपेट कर सभी किताबो को सुरक्षित रखा जा सकता था लेकिन लापरवाही बरतने के कारण भीगी किताबे वही प्रिंसपल मोहोदय का ऐसा मानना शासन ने नही बनाए बिल्डिंग इस लिए हो गई किताबे पानी में भीगकर खराब वही बच्चो की जान से भी शिक्षक कर रहे खिलवाड़ 50 साल पुरानी बिल्डिन जर जर भवन में बच्चो को दे रहे शिक्षा कभी हो सकती बड़ी घटना 35 से 40 बच्चे पढ़ते इस खंडर भवन में
एक शिक्षक आते स्कूल तो दूसरे शिक्षक रहते नदारत
: एक बड़ी लापरवाही से शिक्षकों की से स्कूल के बच्चों की बटने आई किताबे भीग गई तो






वही दूसरी लापरवाही और देखने को मिली जहां भारत सरकार बच्चो को पड़ने लिखने के लिए लाखो रुपए खर्च कर रही हैं अनेकों योजनाएं चला रहे हैं ताकि पढ़ लिख कर बच्चो का भविष्य उज्ज्वल हो सके तो वही सरकार की मंशा पर ऐसे शिक्षक पानी फेरते दिखाई दे रहे हैं पड़ना लिखना तो दूर की बात है शिक्षक ही बच्चो के भविष्य से खिलवाड़ कर रहे हैं इतनी मोटी मोटी पगार लेने वाले शिक्षक ही जब बच्चो भविष्य को अंधकार की ओर धकेल रहे है ऐसा नजारा हमे इस प्राथमिक शाला में देखने को मिला है जहा बच्चो से
शिक्षक द्वारा बच्चो से धुलवाई जा रही टाट पट्टी और सुखाने के लिए डलवाई गई खुद खड़े होकर देख रहे टीचर। नोनिहाल पढ़ने के लिए आई स्कूल में धुलवाई गई बच्ची से टाट पट्टी अब देखना ये होगा शिक्षा अधिकारी ऐसे लापरवाह शिक्षकों पर क्या कार्यवाही करते हैं जो लापरवाही के साथ साथ बच्चो से टाट पट्टी धुलवाने जैसा काम भी करवाते हैं और खंडर बिल्डिंग में बारिश के समय में उनको शिक्षा देने का ढोंग कर रहे हैं
